Kavi Shreedhar (Pratham)
कवि श्रीधर ( प्रथम )
अपभ्रंश भाषा साहित्य में श्रीधर कवि का नाम भी प्राप्त होता है। श्रीधर कवि को अनेक विशेषण प्राप्त हैं। श्रीधर कवि का जन्म अग्रवाल कुल में हुआ था। इनकी माता का नाम बील्हा देवी और पिता का नाम बुधगोल्ह था।
इनका समय 12वीं शताब्दी माना गया है।
कवि की दो रचनाएं प्राप्त हैं। 1. पासणाह चरिउ 2. वडढमाण चरिउ।
जबकि एक रचना चंदप्पह चरिउ प्राप्त नहीं है।
पासणाह चरिउ में तीर्थंकर पार्श्वनाथ के चरित्र का वर्णन किया गया है। यह ग्रंथ 12 संधियों में विभक्त है और यह लगभग 2500 पद्य प्रमाण है।
वडढमाण चरिउ ग्रंथ में भगवान महावीर के चरित्र का वर्णन है। इस ग्रंथ में देशों, युद्ध, देवों द्वारा राजकुमार वर्धमान की सेवा आदि बहुत सुंदर प्राकृतिक अलंकारों के साथ वर्णन किया गया है।